
PM Kisan Samman Yojana: पति-पत्नी नहीं उठा सकते पीएम किसान योजना का लाभ, जानें-सरकार कैसे करती है पात्र लाभार्थियों की पहचान?
PM Kisan Samman Yojana: योजना के तहत लाभ पाने के लिए पात्र किसान परिवारों की पहचान करने की जिम्मेदारी पूरी तरह से राज्य/संघ राज्य क्षेत्र की सरकारों की है. राज्य सरकारें और केंद्र शासित प्रदेश प्रशासन उन किसान परिवारों की पहचान करेगा जो योजना दिशानिर्देशों के अनुसार सहायता के लिए पात्र हैं. राशि सीधे लाभार्थियों के बैंक खातों में ट्रांसफर की जाएगी.

PM Kisan Samman Nidhi Yojana: पीएम किसान सम्मान निधि योजना (PM Kisan Samman Nidhi Yojana) के तहत देश में छोटे और सीमांत किसान परिवारों को 6,000 रुपये की आर्थिक सहायता दी जाती है. डिजिटल इंडिया (Digital India) पहल के साथ सरकार ने योग्य किसानों को 2,000 रुपये सीधे उनके बैंक खातों में ट्रांसफर करती है. पात्र किसानों को हर चार महीने में, यानी अप्रैल-जुलाई, अगस्त-नवंबर और दिसंबर-मार्च में 6,000 रुपये प्रति वर्ष का वित्तीय लाभ 2,000 रुपये की तीन किस्तों में जारी किया जाता है. यह योजना किसानों के आधार विवरण से जुड़ी हुई है. डेटाबेस में उन किसानों और परिवारों के सभी सदस्यों का विवरण होता है, जिनके नाम जमीन के रिकॉर्ड में दर्ज होते हैं.
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2 हेक्टेयर तक की संयुक्त जोत/स्वामित्व वाले छोटे और सीमांत किसान परिवारों को पैसे किस्तों में दिए जाते हैं. यहां योजना के लिए परिवार की परिभाषा पति, पत्नी और नाबालिग बच्चे हैं.
पीएम किसान सम्मान निधि योजना के लिए कौन पात्र है?
- पति और पत्नी दोनों पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ नहीं उठा सकते हैं. अगर किसी परिवार में पति-पत्नी हैं जो इस योजना से लाभान्वित होते हैं तो सरकार उन्हें ‘नकली’ करार दे देगी. इसके अलावा, ऐसे अन्य प्रावधान भी हैं जिनमें किसान पीएम किसान सम्मान निधि योजना का लाभ लेने के लिए अपात्र हैं.
- अगर किसान परिवार में कोई टैक्स देता है तो इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा. इसी तरह, यदि कोई किसान अपनी कृषि भूमि का उपयोग खेती के लिए नहीं बल्कि अन्य कार्यों के लिए कर रहा है या दूसरों के खेतों में खेती का काम करता है, और वे योजना का लाभ लेने के पात्र नहीं होंगे.
- अगर कोई किसान खेती कर रहा है, लेकिन खेत उसके नाम पर नहीं बल्कि उसके पिता या दादा के नाम पर है, तो उन्हें फिर से इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा.
- यदि कोई कृषि भूमि का स्वामी है, लेकिन वह सरकारी कर्मचारी है या सेवानिवृत्त, वर्तमान या पूर्व सांसद, विधायक, मंत्री हैं, तो ऐसे लोग भी किसान योजना के लाभ के लिए अपात्र हैं.
- पेशेवर पंजीकृत डॉक्टर, इंजीनियर, वकील, चार्टर्ड अकाउंटेंट या उनके परिवार के सदस्य भी पीएम किसान सम्मान निधि योजना के लाभों का आनंद लेने के लिए अपात्र हैं.
- भारत में परिवार की अवधारणा का अर्थ है पति और पत्नी और दो नाबालिग बच्चे और पीएम किसान के नियम के अनुसार आदर्श रूप से परिवार के एक सदस्य को ही इसका लाभ मिलना चाहिए न कि पति-पत्नी दोनों को.
कैसे की जाती है लाभार्थियों की पहचान
- राज्य सरकारें और केंद्र शासित प्रदेश प्रशासन उन किसान परिवारों की पहचान करेगा जो योजना दिशानिर्देशों के अनुसार सहायता के लिए पात्र हैं. राशि सीधे लाभार्थियों के बैंक खातों में ट्रांसफर की जाएगी.
- योजना के तहत लाभ पाने के लिए पात्र किसान परिवारों की पहचान करने की जिम्मेदारी पूरी तरह से राज्य/संघ राज्य क्षेत्र की सरकारों की है. विभिन्न राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में प्रचलित भूमि-स्वामित्व प्रणाली/भूमि के रिकॉर्ड का उपयोग योजना का लाभ देने के लिए इच्छित लाभार्थियों की पहचान करने के लिए किया जाता है.
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