नोटबंदी: कांग्रेस का प्रदर्शन, गहलोत और आनंद शर्मा जैसे वरिष्ठ नेता हिरासत में लिए गए

हिरासत में लिए जाने को मोदी सरकार का ‘तानशाही’ वाला कदम करार देते हुए गहलोत ने कहा कि नोटबंदी से देश के गरीबों और छोटे कारोबारियों को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है.

Published: November 9, 2018 1:25 PM IST

By India.com Hindi News Desk | Edited by David John

नोटबंदी: कांग्रेस का प्रदर्शन, गहलोत और आनंद शर्मा जैसे वरिष्ठ नेता हिरासत में लिए गए

नई दिल्ली: कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं और कार्यकर्ताओं ने नोटबंदी के दो साल पूरा होने के मौके पर नरेंद्र मोदी सरकार के इस कदम के खिलाफ शुक्रवार को दिल्ली में भारतीय रिजर्व बैंक के बाहर प्रदर्शन किया. पार्टी के संगठन महासचिव अशोक गहलोत, वरिष्ठ नेता आनंद शर्मा, मुकुल वासनिक, हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा, अखिल भारतीय महिला कांग्रेस की अध्यक्ष सुष्मिता देव, भारतीय युवा कांग्रेस के अध्यक्ष केशव चंद यादव और पार्टी के राष्ट्रीय सचिव मनीष चतरथ एवं नसीब सिंह और पार्टी के कई कार्यकर्ता शामिल हुए.

आरबीआई दफ्तर की तरफ बढ़ रहे कांग्रेस नेताओं एवं कार्यकर्ताओं को पुलिस ने हिरासत में लिया और संसद मार्ग थाने ले गई. हिरासत में लिए जाने को मोदी सरकार का ‘तानशाही’ वाला कदम करार देते हुए गहलोत ने कहा कि नोटबंदी से देश के गरीबों और छोटे कारोबारियों को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है. कांग्रेस ने गुरुवार को नोटबंदी के दो साल पूरा होने के मौके पर घोषणा की थी कि पार्टी नोटबंदी के खिलाफ राष्ट्रव्यापी प्रदर्शन करेगी.

कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने इसी विषय को लेकर गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर जमकर हमला बोला था और आरोप लगाया था कि मोदी सरकार का यह कदम खुद से पैदा की गई ‘त्रासदी’ और ‘आत्मघाती हमला’ था जिससे प्रधानमंत्री के ‘सूट-बूट वाले मित्रों’ ने अपने कालेधन को सफेद करने का काम किया. गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आठ नवंबर, 2016 को नोटबंदी की घोषणा की जिसके तहत, उन दिनों चल रहे 500 रुपये और एक हजार रुपये के नोट चलन से बाहर हो गए थे.

8 नवंबर को नोटबंदी के दो साल पूरे होने पर पूर्व पीएम मनमोहन सिंह ने भी सरकार पर हमला बोला था. मनमोहन सिंह ने कहा कि अर्थव्यवस्था की “तबाही’ वाले इस कदम का असर अब स्पष्ट हो चुका है और इसके घाव गहरे होते जा रहे हैं. मोदी सरकार को अब ऐसा कोई आर्थिक कदम नहीं उठाना चाहिए जिससे अर्थव्यवस्था के संदर्भ में अनिश्चितता की स्थिति पैदा हो. सिंह ने कहा कि नरेंद्र मोदी सरकार ने 2016 में त्रुटिपूर्ण ढंग से और सही तरीके से विचार किए बिना नोटबंदी का कदम उठाया था. आज उसके दो साल पूरे हो गए. नोटबंदी से भारतीय अर्थव्यवस्था पर जो कहर बरपा, वह अब सबके सामने है.

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