
उत्तराखंडः कुमाऊं के लोगों को बड़ी राहत देने की तैयारी, यहां बनने जा रही जल संस्थान की दूसरी स्टेट लैब
उत्तराखंड जल संस्थान की दूसरी स्टेट लैब हल्द्वानी में बनने जा रही है. शासन से प्रस्ताव पर मुहर लगते ही इसे बनाने की औपचारिक प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी. इसके बनने से हजारों लोगों को बड़ी राहत मिलेगी.

Uttarakhand News: उत्तराखंड में जल संस्थान हजारों लोगों को बड़ी राहत देने जा रहा है. दरअसल, जल संस्थान की दूसरी स्टेट लैब हल्द्वानी में बनाए जाने का रास्ता साफ हो गया है. लैब का प्रस्ताव शासन को भेजा जा चुका हैं. स्वीकृत मिलने के बाद इसे बनाने की औपचारिक प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी. इसके बनने से लोगों को देहरादून नहीं जाना पड़ेगा. अभी तक जल संस्थान की एकमात्र लैब देहरादून में हैं. जल संस्थान की सभी जिलों में स्थापित लैब की मॉनिटरिंग करने का काम स्टेट लैब का होता हैं. इसमें सभी जिलों से 10 प्रतिशत पानी के सैंपल चेक किये जाते हैं.
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प्रदेश की सभी जिलों की लैब सही रूप में काम कर रही हैं या नही इसकी जांच के लिए अभी तक पानी के सैंपल सभी जिलों से मंगवाकर देहरादून भेजे जाते रहे हैं. हल्द्वानी में अगर जल संस्थान की दूसरी स्टेट लैब बनती हैं तो कुमाऊं के तमाम प्राकृतिक जल स्रोत(नदी,गधेरे और झील )के सैंपल की जांच हल्द्वानी में आसानी की जा सकेगी.
बता दें कि पानी की गुणवत्ता की जांच में जल संस्थान की वाटर स्टेट लैब का रोल बहुत बड़ा होता है. कुमाऊं के कई जगहों पर प्रदूषित जल की सप्लाई की शिकायतें अक्सर आती रहती हैं. इसको लेकर जल संस्थान की स्टेट लैब की रिपोर्ट और जिलों में स्थापित लैब की रिपोर्ट को क्रॉस चेक किया जाता हैं.
जल संस्थान के अधीक्षण अभियंता विशाल सक्सेना ने बताया कि नैनीताल जिले में 1000 से ज्यादा प्राकृतिक जल स्रोत हैं, जहां से जिले के अलग अलग इलाकों में पेयजल सप्लाई होती हैं. इन प्राकृतिक जल स्रोत की पूरे साल में 3 बार टेस्टिंग और मॉनिटरिंग की जाती है इसके लिए रोस्टर तैयार किया जाता है.
(इनपुट- विनोद कांडपाल)
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