प्राकृतिक औषधियां वास्तव में बहुत अच्छी चीज होती हैं, हाई केलोस्ट्राल, पुराने दर्द, तनाव और यीस्ट इंफेक्शन जैसे कई बीमारियों के उपचार में ये बहुत ही प्रभावी हैं लेकिन कई बार ये औषधियां सेहत के लिए खतरनाक साबित होती हैं, खासकर हर्बल औषधियां। हाल ही की एक रिपोर्ट के अनुसार
बायलर कालेज आफ मेडिसिन के वैज्ञानिकों ने हर्बल औषधियों को उनके गुण और उनमें पाए जाने वाले विषाक्त यौगिकों के आधार पर इसे ग्लोबल हेल्थ के लिए खतरा बताया है। यह बात चौंकाने वाली है लेकिन मायो क्लीनिक कम्पलेमेंट्री एंड इंटेग्रेटिव मेडिसिन प्रोग्राम के डायरेक्टर ब्रेंट ए बायर ने कहा कि इससे घबराने की कोई जरूरत नही है। यदि आप हर्बल दवाइयों का उपयोग डाक्टर की सलाह से करते है तो इसके साइड इफेक्ट की संभावना नही होती है। लेकिन इस बात को अनदेखा नही किया जा सकता कि हर्बल सप्लीमेंट एफडीए द्वारा निर्धारित निर्देशों और नियमों का पालन नही करते हैं।
सबसे सुरक्षित सप्लीमेंट्स यूएस फार्माकोपियल कन्वेंशन(यूएसपी) प्रदान करता है। यूएसपी आपको महत्तव जानकारी देता है कि सप्लीमेंट के लेबल पर क्या है और इसके अंदर की बोतल मे क्या है, लेकिन फिर भी डाक्टर की सलाह के बिना किसी भी दवा का सेवन ना करें क्योंकि कुछ उत्पाद ऐसे हैं जिनसे आपको हमेशा सावधान रहना चाहिए। Also Read - chilblains Home Remedies: सर्दियों में होती है हाथ-पैरों में सूजन और खुजली की समस्या, तो अपनाएं ये घरेलू उपाय
आयुर्वेदिक सप्लीमेंट्स

बीमारियों के उपचार में आयुर्वेद का प्रयोग भारत में हजारों वर्षों से होता चला आ रहा है। आयुर्वेद के माध्यम से किया गया उपचार अपना प्रभाव देर से दिखाता है लेकिन यह सुरक्षित और ज्यादा समय तक प्रभावी होता है। लेकिन बाउर का कहना है कि फिर भी आपको जागरूक रहने की जरूरत है। आयुर्वेदिक दवाइयों में कई तरह के मेटल्स लेड, मरक्यूरी आदि का प्रयोग किया जाता है जो कि सेहत के लिए के लिए काफी खतरनाक है। Also Read - Year Ender 2020 Home Remedies: साल 2020 में इन परेशानियों के लिए सबसे ज्यादा सर्च किए गए ये घरेलू उपाय, आप भी आप भी आजमाएं
कम्पाउंड सप्लीमेंट

कम्पाउंड सप्लीमेंट्स में क्या होता है कि व्यक्ति को पता नही होता है और वह अलग-अलग हर्ब में एक ही तरह के सप्लीमेंट्स का प्रयोग करता है। बायर के अनुसार उनके पास आने वाले अधिकतर मरीज एक ही कॉम्बीनेशन के 5 से 6 तरह की हर्ब का प्रयोग कर रहे होते हैं। यदि आप अलग-अलग समस्या के लिए 5 अलग-अलग तरह की औषधियों का प्रयोग कर रहे हैं और पांचो सप्लीमेंट में विटामिन ए की मात्रा है तो इससे जल्दी ही विटामिन ए विषैले रूप मे आपके शरीर मे जमा होने लगता है और सेहत को नुकसान पहुचाता है। कई सप्लीमेंट्स के ऐसे काम्बीनेशन होते हैं जो ये दिखाते हैं कि वो आपके ब्रेन के लिए फायदेमंद हैं इस वजह कई लोग इसके ओवरडोज भी लेने लग जाते हैं। बायर का कहना है कि आप डाक्टर की सलाह से ऐसे सप्लीमेंट का चुनाव करें जो आपके लिए ज्यादा फायदेमंद हो। Also Read - Remedies For Cough: सर्दियों में छाती में जम गया है कफ, तो आजमाएं ये आसान तरीके
बिना डाक्टर की सलाह के हर्बल औषधियों का प्रयोग

हाई ब्लड प्रेशर के लिए यदि आप लहसुन का प्रयोग कर रहे हैं तो तुरंत इसका प्रयोग बंद कर दें क्योंकि यदि आप हार्ट संबंधी किसी भी दवा एंटीकोग्लूएंट्स आदि का सेवन कर रहे हैं तो उसके साथ लहसुन का प्रयोग करना आपके लिए बहुत ही ज्यादा खतरनाक हो सकता है। यदि आप कभी भी किसी जड़ी-बूटी का सेवन प्रारम्भ करें तो ऐसा डाक्टर जो आपके शरीर को सही तरह से समझता हो उससे जरुर सलाह लें।
दवाओं की प्रमाणिकता

दवाओं की प्रमाणिकता ही उन्हे विश्वसनीय बनाती है और सिर्फ यूएस मे बनी हर्बल औषधियां ही यूएसपी प्रमाणित होती हैं इसके अलावा जो औषधियां अन्य देशों से आती हैं वो नियमों एवं शर्तों का पालन नही करती हैं जिससे उनकी गुणवत्ता पर विश्वास नही किया जा सकता। बायर के अनुसार चाइनीज हर्ब से जरूर सावधान रहना चाहिए क्योंकि यह मिट्टी और भारी धातुओं के मिश्रण से बना होता है और विषैला भी होता है।