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लखनऊ: उत्तर प्रदेश की योगी आदित्यनाथ सरकार-2 (Yogi Adityanath Govt 02) के मंत्रिमंडल में एक पूर्व आईपीएस (former IPS) अफसर असीम अरुण (Asim Arun)ने भी राज्य मंत्री के रूप में शपथ ली है. दलित समाज से ताल्लुक रखने वाले असीम अरुण ऐसे आईपीएस अफसर हैं, जिन्होंने न केवल पुलिस प्रशासन की साफ सुथरी छवि बनाने की भरपूर कोशिश की, बल्कि आतंकवादी गतिविधियों के खिलाफ पुलिस की रणनीति तैयार की और एटीएस कमांडो की मदद से लखनऊ में आईएसआईएस के कुख्यात आतंकवादी को भी मार गिराया था.
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से ऐन पहले भारतीय पुलिस सेवा (IPS) के अपर पुलिस महानिदेशक स्तर (एडीजी) रैंक का पद छोड़कर स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति (वीआरएस) लेने वाले असीम अरुण के उज्ज्वल सियासी भविष्य की संभावनाओं को भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ग्रहण करते ही उड़ान मिलने लगी थी. अैर अब माना जा रहा है कि भाजपा असीम अरुण को दलित नेता के रूप में आगे करेगी.
भाजपा ने विधानसभा चुनाव में उन्हें कन्नौज सदर क्षेत्र से उम्मीदवार बनाया और अरुण ने यहां से चुनाव जीतकर अपनी नई पारी की रफ्तार तेज कर दी। शुक्रवार को उन्हें योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में बनी सरकार में स्वतंत्र प्रभार के राज्यमंत्री पद की शपथ दिलाई गई।
असीम अरुण का जन्म तीन अक्टूबर 1970 को हुआ. उच्च शिक्षा हासिल करने के बाद अपने पिता श्रीराम अरुण (पूर्व पुलिस महानिदेशक) की राह पर चलते हुए वह 1994 में भारतीय पुलिस सेवा में चयनित हुए और विभिन्न जिलों में एएसपी, एसपी, एसएसपी, डीआईजी आदि पदों पर रहे। आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) के पुलिस महानिरीक्षक रहते हुए उन्होंने एटीएस कमांडो की मदद से लखनऊ में आईएसआईएस के कुख्यात आतंकवादी को मार गिराया था. वैसे अलीगढ़ में एसएसपी रहते हुए आतंकवादी गतिविधियों से निपटने के लिए जिला स्तरीय स्पेशल वेपंस एंड टैक्टिक्स टीम (स्वाट) का गठन कर वह न केवल सुर्खियों में आए बल्कि आरएसएस (राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ) और भारतीय जनता पार्टी के नेताओं की भी निगाह में आ गए थे.
पिछले साल कानपुर में पुलिस आयुक्त प्रणाली शुरू होने के बाद सरकार ने उन्हें वहां का पहला पुलिस आयुक्त बनाया। कानपुर का पुलिस आयुक्त रहते हुए असीम अरुण ने वीआरएस लिया। अनुसूचित जाति परिवार से आने वाले मूलतरूप से कन्नौज के निवासी अरुण की राजनीतिक पारी के लिए भाजपा ने कन्नौज को ही चुना.
स्कूली शिक्षा लखनऊ के सेंट फ्रांसिस स्कूल से पूरी करने के बाद अरुण ने स्टीफंस कॉलेज से बीएससी किया. राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि भाजपा असीम अरुण को दलित नेता के रूप में आगे करेगी. असीम के पिता श्रीराम अरुण उप्र के दो बार पुलिस महानिदेशक रहे और उनके कार्यकाल में पुलिस सुधार के कई कार्य हुए.
कैबिनेट मंत्रियों में सूर्य प्रताप शाही, सुरेश कुमार खन्ना, स्वतंत्र देव सिंह (भाजपा प्रदेश अध्यक्ष व एमएलसी), बेबी रानी मौर्य, लक्ष्मी नारायण चौधरी, जयवीर सिंह, धर्मपाल सिंह, नंद गोपाल गुप्ता नंदी, भूपेंद्र चौधरी, अनिल राजभर, जितिन प्रसाद, राकेश सचान, अरविंद कुमार शर्मा, योगेंद्र उपाध्याय के अलावा सहयोगी दल अपना दल (एस) के कार्यकारी अध्यक्ष आशीष पटेल और निर्बल इंडियन शोषित हमारा आम दल (निषाद) के प्रमुख संजय निषाद ने शपथ ली.
राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) के रूप में नितिन अग्रवाल, कपिलदेव अग्रवाल, रविंद्र जायसवाल, संदीप सिंह, गुलाब देवी, गिरीश चंद्र यादव, धर्मवीर प्रजापति, असीम अरुण, जे. पी. एस. राठौर, दयाशंकर सिंह, नरेंद्र कश्यप, दिनेश प्रताप सिंह, अरुण कुमार सक्सेना और दयाशंकर मिश्र दयालु ने शपथ ली है.
राज्य मंत्री के रूप में मयंकेश्वर सिंह, दिनेश खटीक, संजीव गौड़, बलदेव सिंह औलख, अजीत पाल, जसवंत सैनी, रामकेश निषाद, मनोहर लाल मन्नू कोरी, संजय गंगवार, बृजेश सिंह, के. पी. मलिक, सुरेश राही, सोमेंद्र तोमर, अनूप प्रधान वाल्मीकि, प्रतिभा शुक्ला, राकेश राठौर गुरु, रजनी तिवारी, सतीश शर्मा, दानिश आजाद अंसारी और विजय लक्ष्मी गौतम ने शपथ ली है. (इनपुट: भाषा)
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